जिले में 34 फीसदी लोगों को नहीं मिला राशन

कोरोना संकट में जिले में अभी भी 34 फीसदी लोग राशन से वंचित है। जबकि 86 फीसदी राशन कार्ड लाभुकों के बीच वितरण हुआ है। सरकार ने कोरोना को लेकर अभियान चलाकर प्रवासियों व वंचित परिवार के लिए नये राशनकार्ड बनाने की मुहिम चलाई थी। बिहार में 23 लाख 38 हजार नये राशन कार्ड बनाये गये। जबकि जिले में करीब दो लाख नये राशन कार्ड बनाये गये है। अगस्त माह से नये राशन कार्ड वाले लाभुकों को राशन भी मिलना शुरू हो गया। लेकिन जब वे राशन लेने पहुंचते है तो महज एक से दो यूनीट का राशन से ही उन्हें संतोष करना पड़ता है। जबकि राशन कार्ड के आवेदन देते समय पूरे परिवार का नाम व कागजात जमा कराया जाता है। यह स्थिति शहर व नगर पंचायतों में ही नहीं बल्कि जिले के सभी प्रखंडों में भी है।

नगर क्षेत्र के वार्ड 20 के पार्षद संजय केजरीवाल ने बताया कि सरकार राशन कार्ड वितरण कर वाहवाही लूट रही है। जबकि सच्चाई यह है कि राशन कार्ड तो गरीबों को मिला पर राशन से अभी भी वे कोसो दूर है। सकरा के कुलेशरा के लाभुक विकास कुमार ने बताया कि मेरे कार्ड पर पांच की जगह एक व्यक्ति का नाम है। दशरथ राय ने बताया कि छह की जगह एक सदस्य का नाम है। विक्रेता प्रमोद राम ने बताया कि नया राशन कार्ड का आवंटन नहीं हुआ है। इधर, जिला आपूर्ति पदाधिकारी महमूद आलम ने बताया कि रविवार तक जिले में सात लाख 46 हजार लाभुकों के बीच राशन वितरण किया जा चुका है। जबकि 86 फीसदी नये राशन कार्ड वितरण किया गया है। जून की अपेक्षा 70 हजार से अधिक लाभुकों को राशन दिया गया है।

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