पंडालों का नहीं होगा निर्माण, स्थापित नहीं होंगी प्रतिमाएं

- शहर से लेकर गांव तक दुर्गा पर कोरोना का असर

-पूजा समितियों के साथ प्रशासन की बैठक, दिए गए निर्देश
संसू, हिसुआ : वैश्विक महामारी कोरोना वायरस का असर इस वर्ष शहर से लेकर देहात तक दुर्गा पूजा में भी दिखेगा। पंडालों में इस बार मूर्ति की स्थापना नहीं होगी। ऐसा करने पर प्रशासन ने रोक लगा दिया है। इस बार कहीं भी बड़े स्तर पर दुर्गा पूजा का आयोजन करने पर रोक लगा दिया गया है। किसी भी प्रकार के सार्वजनिक कार्यक्रम या बड़े-बड़े पूजा पंडालों का निर्माण नहीं होगा। ऐसा जिला प्रशासन ने बिहार सरकार के गृह विभाग से मिले आदेश के बाद शांति समिति की बैठक के दौरान सभी पूजा समिति के लोगों को आदेश दिया गया है। सोमवार की देर शाम बीडीओ डॉ. मृत्युंजय कुमार की अध्यक्षता व सब इंस्पेक्टर सुभाष कुमार कि देखरेख में हुई बैठक में कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए हैं। बैठक में बीडीओ ने बताया कि दुर्गा पूजा के दौरान विधानसभा चुनाव के साथ-साथ कोविड-19 के भी नियमों का पालन करना जरूरी है। इसे देखते हुए सभी प्रकार के सार्वजनिक कार्यक्रम जिसमें ज्यादा भीड़ भाड़ लगता हो उस पर पाबंदी लगा दी गई है। कोई व्यक्ति चाहे तो अपने निजी मकान और मंदिरों में साधारण रूप में पूजा पाठ कर सकते हैं, उस पर कोई रोक नहीं है। मंदिर या घर में पूजा करने के दौरान भी कोविड-19 के सभी नियमों का पालन करने के साथ-साथ चुनाव आचार संहित का भी पालन करना जरूरी होगा। मंदिर में पूजा के दौरान पूजा पंडाल या मंडप का निर्माण नहीं किया जाएगा और न ही लाउडस्पीकर ही लगेगा। मेले का आयोजन और स्टॉल भी नहीं लगाए जाएंगे। बताया कि किसी भी प्रकार के जुलूस को मूर्ति विसर्जन की इजाजत नहीं दी जाएगी। जबकि आयोजक पूजि स्थल पर थर्मल स्कैनर के साथ- साथ सैनिटाइजर की व्यवस्था स्वयं स्तर से करना सुनिश्चित करेंगे। मंदिर में कोई मूर्ति रखता है तो उसे हर हाल में 25 अक्टूबर को ही विसर्जन कर देना होगा। बैठक में एएसआई गौरव कुमार, मो. अब्बास वार्ड पार्षद विनोद कुमार, सहित दर्जनों पूजा समिति के सदस्य उपस्थित रहें।

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