शिक्षकों का होगा मूल्यांकन, परखी जाएगी शैक्षणिक गुणवत्ता



संवाद सूत्र, मधेपुरा : बेसिक शिक्षा परिषद के स्कूलों में 'शाला सिद्धि' कार्यक्रम के अंतर्गत दिसंबर माह में बाह्य मूल्यांकन किया जाएगा। इस दौरान 365 प्राथमिक व 32 उच्च प्राथमिक स्कूलों में शैक्षणिक गुणवत्ता सुधार के साथ शिक्षकों की उपस्थिति से लेकर प्रत्येक बिदु पर मूल्यांकन किया जाएगा। सर्व शिक्षा अभियान के डीपीओ ने सभी प्रखंड शिक्षा अधिकारियों को पहले चरण में 35 फीसदी स्कूलों का दिसंबर में मूल्यांकन कराने के आदेश जारी कर दिया है। मानव संसाधन मंत्रालय की ओर से प्राथमिक व उच्च प्राथमिक स्कूलों में शाला सिद्धि कार्यक्रम संचालित हो चुका है। इसका मकसद शैक्षिक सुधार, आधारभूत सुविधाओं के साथ शिक्षकों के दायित्व निर्धारित करना है। स्कूलों ने स्वयं मूल्यांकन कर रिपोर्ट आनलाइन फीड कर दी है। राज्य परियोजना निदेशालय के आदेश पर सर्व शिक्षा अभियान के डीपीओ ने कहा कि मूल्यांकन टीम में दूसरे स्कूलों के प्रधानाध्यापक, एनपीआरसी और एबीआरसी शामिल होंगे। छात्र नामांकन के आधार पर मूल्यांकन टीमों में सदस्य शामिल किए जाएंगे। 100 छात्र संख्या वाले स्कूलों का मूल्यांकन दो सदस्यीय टीम करेगी। 200 छात्र नामांकन संख्या वाले स्कूलों में तीन सदस्य व 300 से अधिक छात्र संख्या वाले स्कूलों में पांच सदस्य होंगे। मार्च में मूल्यांकन पूरा कर रिपोर्ट आनलाइन रिपोर्ट देनी होगी। संभाग प्रभारी मु. सदाब ने बताया कि 2018-19 में 1776 में 996 विद्यालय में वहीं 2019-20 में 1776 में 482 विद्यालय में यह हो चुका है। विद्यालयों में आएगी गुणवत्ता शिक्षा

संभाग प्रभारी मु. सदाब ने बताया कि शाला सिद्धि हमारी शाला ऐसी हो कोई नया कार्यक्रम नहीं हैं अपितु पूर्व वर्षों में शिक्षा की गुणवत्ता के क्षेत्र में किये गए विभिन्न प्रयासों को एकीकृत कर इन्हें सुनियोजित रूप से क्रियान्वयन करने का प्रयास है। गुणवत्तापूर्ण शिक्षा के लिए शाला का उन्नयन से तात्पर्य यह है कि शाला का विकास इस प्रकार से हो कि शाला की अकादमिक व सह-अकादमिक प्रक्रियाओं से विद्यार्थियों को भयमुक्त व आनंददायी वातावरण में सीखने के अवसर मिलें और प्रत्येक विद्यार्थी अपनी आयु के अनुरूप निर्धारित दक्षता और कौशलों को अर्जित कर सके। कार्यक्रम के प्रमुख उद्देश्य शालाओं के मूल्यांकन की प्रक्रिया विकसित करने के लिए तकनीकी रूप से उत्तम वैचारिक प्रक्रिया का निर्माण करना तथा उनके लिए प्रक्रिया और उपकरण निश्चित करना। मुख्य विषयों पर छात्र उपलब्धि का मूल्यांकन : 81 से 100 अंक लाने वाले ए ग्रेड
: 61 से 80 अंक लाने वालों को बी ग्रेड
: 41 से 60 अंक लाने वालों को सी ग्रेड
: 33 से 40 अंक लाने वालों को डी ग्रेड
: 32 अंक लाने वालों को ई ग्रेड

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