ढाई माह बीत जाने के बाद भी पूर्व डीईओ व बीईओ के खिलाफ आरोप पत्र नहीं हुआ गठित

संवाद सूत्र, मधेपुरा : सेवानिवृत्त शिक्षक को सेवानिवृत्ति के चार माह तक वेतन देने के मामले में आरोपित बने पूर्व डीईओ उग्रेस नारायण मंडल व पूर्व बीईओ यदुवंश यादव के खिलाफ ढाई माह बाद भी आरोप पत्र गठित नहीं हुआ है। यह मामला अब फिर से तूल पकड़ लिया है।

मालूम हो कि इस मामले में प्राथमिक शिक्षा के निदेशक ने अक्टूबर माह में ही पूर्व डीईओ उग्रेस नारायण मंडल, सिंहेश्वर के पूर्व बीईओ यदुवंश यादव समेत स्थापना के कर्मचारियों के खिलाफ आरोप पत्र गठित करने का निर्देश दिया था। सिंहेश्वर प्रखंड के सुखासन स्थित सिमराही मध्य विद्यालय के सेवानिवृत्त शिक्षक अनिल कुमार के सेवानिवृत्ति के बाद भी चार माह तक वेतन लिया था। अनिल कुमार 31 दिसंबर 2014 को मध्य विद्यालय सिमराही सुखासन में शिक्षक के पद से सेवानिवृत्त हुए। पेंशन प्रपत्र में संबंधित शिक्षक की सेवानिवृत्ति तिथि 31 दिसंबर 14 है, जबकि विद्यालय में उपस्थित पंजीयन में कार्यरत अवधि 30 अप्रैल 2015 है। अनिल कुमार की शिक्षक के पद पर नियुक्ति विद्यालय प्रबंध समिति द्वारा दो मई 1970 को हुई। नियुक्ति के समय अनिल कुमार की उम्र 15 वर्ष से कम थी, जो नियमानुकूल नहीं है। जिला कार्यालय में उपलब्ध अनिल कुमार की सेवापुस्तिका की छाया प्रति अनिल कुमार की सेवा पुस्तिका में उत्क्रमित कन्या मध्य विद्यालय बरहकुरवा में कार्यरत होना अंकित है, लेकिन उत्क्रमित कन्या मध्य विद्यालय बरहकुरवा की उपस्थिति पंजी में अनिल कुमार का नाम अंकित नहीं है। इससे स्पष्ट होता है कि अनिल कुमार का मध्य विद्यालय सिमराही सुखासन में पोस्टिग व स्थानांतरण अवैध ढंग से हुआ है। इससे यह प्रतीत होता है कि सेवानिवृत्ति के उपरांत चार माह तक अधिक कार्यरत रहे। वहीं, मामले की बड़ी बात रही कि जिस आदमी का पेंशन प्रपत्र चार वर्ष के बाद प्रस्तुत किया गया। शीध्र ही पेंशन का निष्पादन हो जाता है। यह अपने आप में संदेह उत्पन्न करता है। निदेशक ने डीईओ का निर्देश दिया है कि अनिल कुमार की पेंशन पर तत्काल रोक लगाई जाए और इस कार्य में संलिप्त पूर्व बीईओ यदुवंशी यादव, पूर्व डीपीओ स्थापना के उग्रेस नारायण मंडल व संबंधित कार्यालय सहायक को चिह्नित कर उसके विरुद्ध आरोप पत्र गठित करते हुए साक्ष्य सहित प्रपत्र 15 दिन के अंदर उपलब्ध कराने का निर्देश दिया गया था। कोट पंचायत चुनाव के कारण आरोप पत्र गठित करने में विलंब हो रहा था। जल्द ही आरोप पत्र गठित कर पटना निदेशक को भेज दिया जाएगा। -सुनील कुमार गुप्ता, डीपीओ (स्थापना)

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