नर्सिग होम में संदिग्ध अवस्था में नर्स की मौत, पुलिस और स्वजन के आने से पहले फंदे से उतारा शव



संवाद सहयोगी, किशनगंज : शहर के सुभाषपल्ली स्थित डीएस नर्सिंग होम के एक कमरे में मंगलवार की सुबह एक नर्स की संदिग्ध अवस्था में शव मिलते ही सनसनी फैल गई। फांसी के फंदे पर झूल रहे नर्स के शव को नर्सिंग होम के कर्मियों ने कमरा तोड़कर पुलिस और स्वजन के आने से पहले नीचे उतार दिया। उसके गले पर फांसी के फंदे का काला निशान बना हुआ था। मृतक नर्स की पहचान बंगाल के ग्वालपोखर थाना क्षेत्र के पोखरिया की रहने वाली 22 वर्षीय सदा बैगम के रूप में हुई। नर्स पिछले डेढ़ साल से नर्सिंग होम में काम कर रही थी। नर्सिंग होम के स्टाफ और संचालक ने शव को फंदे से नीचे उतारने के बाद पुलिस और स्वजन को सूचना दी। सूचना पर पहुंची पुलिस ने देखा शव को पहले से फंदे से नीचे उतारकर रख दिया गया है। वहीं बंगाल से पहुंचे स्वजन ने हत्या का आरोप लगाते हुए हंगामा शुरू कर दिया। पुलिस ने स्वजन को समझाकर शांत कराया।

पुलिस ने तहकीकात कर मृतका के शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजकर उसका मोबाइल जब्त किया। घटना के संबंध में जानकारी हासिल करने के लिए पुलिस नर्सिंग होम के अन्य कर्मियों से पूछताछ की। इस दौरान बताया गया कि सुबह में जब सूई देने के लिए उसके कमरे को खटखटाया गया तो वह कमरा नहीं खोली तो कमरा तोड़ा गया तो उसका शव फांसी के फंदा पर झूल रहा था। उसके बाद उसके शव को नीचे उतार दिया गया। वहीं मृतक के भाई मोकीन ने बताया कि बीती रात फोन पर बहन से बात हुआ था तो एक आपरेशन बाद खाना खाकर सोने की बात बताई थी। वहीं सुबह में फोन आया कि उसकी मौत हो गई है। बताया कि उनलोगों के पहुंचने पर शव को संदिग्ध अवस्था में बेड पर रखा गया था और ऊपर छत के पंखा में आधा दुपट्टा लटका हुआ था। मृतक के स्वजन ने बिना जानकारी दिए और विडियोग्राफी किए शव को नीचे उतारने पर हत्या का आरोप लगाकर जमकर हंगामा किए। मामला संदिग्ध होने के कारण हत्या और आत्महत्या की चर्चाएं होती रही। नर्सिंग होम के डाक्टर डा. सौरभ कुमार ने बताया कि रात में नर्सिंग होम में दो पुरुष और दो महिला स्टाफ की ड्यूटी थी। सुबह में मरीजों को इंजेक्शन और दवाई दिलवाने के लिए जब उसे जगाया जा रहा था तो काफी समय तक कमरा का दरवाजा नहीं खोली तो मौजूद स्टाफ दरवाजा तोड़ दिया। अंदर प्रवेश करने पर देखा नर्स पंखे पर फंदे से लटक रही हैं। स्टाफों ने आनन-फानन में पंखे से लटके फंदे को काटकर शव को नीचे उतार दिया और फिर नर्सिंग होम संचालक व मैनेजर को सूचना दी गई। नर्सिंग होम में सीसीटीवी कैमरा नहीं होने के कारण मृतक के भाई ने हत्या का आरोप लगाते हुए कहा कि घटना के बाद सीसीटीवी कैमरा हटाया गया है और उसकी बहन की हत्या कर फांसी के फंदे पर लटकाया गया है। मृतक के स्वजन ने नर्सिंग होम संचालक एवं स्टाफ पर हत्या का आरोप लगाया है। वहीं सूचना पर पहुंचे एसडीपीओ अनवर जावेद अंसारी, सदर थानाध्यक्ष अमर प्रसाद सिंह सहित कई पुलिस के वरीय पदाधिकारी मौके पर पहुंच कर घटना की छानबीन की। एसडीपीओ ने बताया कि मामला संदिग्ध है। मृतक नर्स का मोबाइल जब्त किया गया है जिसका तकनीकी अनुसंधान किया जाएगा। पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद ही हत्या या आत्महत्या का मामला स्पष्ट हो पाएगा। स्वजन के लिखित आवेदन मिलने के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी। एसडीपीओ ने बताया कि जो मरीज नर्सिंग होम में भर्ती हैं उन्हें दूसरे जगह शिफ्ट कर तत्काल नर्सिंग होम को सील कर दिया गया है। सीसीटीवी कैमरा नहीं होने के बारे में भी पता किया जा रहा है।
शव नीचे उतारने पर उठ रहे कई सवाल
नर्सिंग होम के कमरे में नर्स की फांसी के फंदे पर झूलने के बाद शव को बिना पुलिस और स्वजन के सामने स्टाफ द्वारा नीचे उतारने पर कई सवाल उठ रहे हैं। कमरा नहीं खोलने पर किसी अनहोनी की आशंका पर नर्सिंग होम के स्टाफ को पुलिस को सूचना देनी चाहिए थी और पुलिस के सामने कमरा तोड़कर शव को नीचे उतारना चाहिए था। इस दौरान विडीयोग्राफी भी होनी चाहिए। अन्यथा मृतक के स्वजन के आने पर शव को फंदे से नीचे उतारना चाहिए था। वहीं नर्सिंग होम में सीसीटीवी कैमरा नहीं होने के कारण भी कुछ स्पष्ट नहीं हो पा रहा है और लोगों के बीच हत्या या आत्महत्या का चर्चा जोरों पर है। आखिर ऐसी क्या नौबत आ गई कि नर्सिंग होम के स्टाफ कमरा तोड़कर काफी ऊंचे छत से दुपट्टा काटकर शव को नीचे उतारने के बाद अन्य लोगों को सूचना दी गई।

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