प्रवासी कामगारों की रचनात्मकता को करें सलाम

शैलेश कुमार, हाजीपुर:

एक तरफ जब वैशाली जिले के अलग-अलग प्रखंडों में बनाए गए क्वारंटाइन सेंटरों से नाश्ता-भोजन और अन्य व्यवस्थाओं में कथित कमी को लेकर हंगामें की खबरें मीडिया में सुर्खियां बटोर रही हैं, वहीं दूसरी ओर गोरौल प्रखंड के कुछ क्वारंटाइन सेंटरों में रह रहे प्रवासी कामगार अपनी रचनात्मकता से सेंटर परिसर को हरा-भरा करने लगे हैं। मध्य विद्यालय सोंधो क्वारंटाइन सेंटर के परिसर में प्रवासियों ने 111 पौधे लगाए हैं। उनका कहना है कि उनका यह प्रयास जल-जीवन-हरियाली को समर्पित है।
अनेक कठिनाइयों को पार कर अपने गांव में ही बनाए गए क्वारंटाइन सेंटर पर पहुंचे प्रवासी कामगार कुछ-कुछ कमियों को लेकर ना तो हल्ला-हंगामा कर रहे हैं और ना ही किसी से शिकायत। वे कमियों के बीच अपने को व्यस्त रखना प्रारंभ कर दिए हैं। उनके इस कार्य में भारत स्काउट गाइड की गोरौल प्रखंड इकाई भी सहयोग कर रही है। अब तक प्रवासियों ने विद्यालय परिसर की खूबसूरती बढ़ाने और हरा-भरा करने के लिए 111 पौधे लगाए हैं और इसे राज्य सरकार की ड्रीम प्रोजेक्ट जल-जीवन-हरियाली को समर्पित किया है। यह संकल्प भी किया है कि प्रवासी क्वारंटाइन सेंटर में अपने प्रवास काल में इन पौधों को सुरक्षित रखेंगे। विद्यालय के शिक्षक और स्काउट मास्टर राजीव कुमार ने पौधे उपलब्ध कराए। इस सेंटर पर 20 प्रवासी कामगार हैं।
अब कामगार विद्यालय को सुंदर बनाने की तैयारी कर रहे हैं। उन्होंने प्रधानाध्यापक से पेंट और ब्रश मांगा है ताकि विद्यालय का रंग रोगन कर सकें । भारत स्काउट गाइड इकाई गोरौल के प्रभारी धर्मेंद्र कुमार के नेतृत्व में गोरौल के कई क्वारंटाइन सेंटरों पर प्रार्थना सभा के साथ-साथ नियमित रूप से योगाभ्यास भी कराया जा रहा है। सभी कामगार प्रतिदिन खुद विद्यालय परिसर की साफ-सफाई भी करते हैं। पौधारोपण के दौरान स्काउट मास्टर मनोज कुमार सिंह, नरेंद्र प्रसाद सिंह एवं हरिशंकर प्रसाद श्रीवास्तव, बीआरपी धर्मेंद्र कुमार, प्रधानाध्यापक राजेश कुमार ने सभी का उत्साह बढ़ाया।

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