कोरोना से बचाव में आइसोलेशन, क्वारंटीन और सोशल डिसटेंसिग कारगर

हाजीपुर । कोरोना संक्रमण की वजह से लोगों के बीच आइसोलेशन, क्वारंटीन और सोशल डिस्टेंसिग जैसे शब्दों को लेकर असमंजस की स्थिति है। लेकिन तकनीकी रूप से इन तीनों के अलग मायने हैं। कोरोना वायरस से बचने के लिए सरकार और स्वास्थ्य विभाग उन सभी लोगों को क्वारंटीन की सलाह देती है, जो विदेश अथवा किसी दूसरे राज्य की यात्रा करके आए हो या किसी संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आए हों। क्वारंटीन के दौरान संबंधित व्यक्ति को भी 14 दिन तक देखभाल में रखा जाता हैं। इस दौरान उसे आवश्यक उपचार व डॉक्टर की सलाह दी जाती है। प्रत्येक जिले में जगह -जगह पर क्वारंटीन सेंटर बनाए गये थे। इसके अलावा होम क्वारंटीन होने के लिए भी अपने घर के एक कमरे का चुनाव भी किया जा सकता हैं ताकि वह स्वस्थ्य लोगां से दूर रह सके। इसको लेकर डब्ल्यूएचओ ने भी पोस्टर के माध्यम से इन तीनों शब्दों में स्पष्ट अंतर बताया है। आइसोलेशन केंद्र का अर्थ आइसोलेशन केंद्र उन लोगों को भेजा जाता है जो कारोना वायरस से संक्रमित हो जाते हैं और संक्रमण होने की पुष्टि डॉक्टर द्वारा कर ली जाती है। आइसोलेशन के दौरान उन्हें पूरी तरह से सुविधा दी जाती है एवं उनका ख्याल रखा जाता है। साथ ही उन्हें सभी प्रकार की दवाइयां देकर स्वस्थ्य करने की प्रक्रिया 14 दिन तक अपनायी जाती है। आइसोलेश वार्ड घर से दूर किसी एकांत स्थान पर होती है। संपर्क में आए लोग होते है क्वारंटीन

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क्वारंटीन एक ऐसी व्यवस्था है जो ऐसे लोगों पर लागू होती है जो संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आए होते हैं. ऐसे लोग जो किसी दूसरे देश से आऐ हैं या दूसरे राज्यों से जहां कोरोना का संक्रमण है तो ऐसे लोगों को अलग रख कर उनके लक्षणों पर नजर रखी जाती है। अगर कोई 14 दिन के क्वारंटीन अवधि के काल में संक्रमित पाए जाते है, तो उनका इलाज किया जाता है। साथ ही इस तरीके से दूसरे लोगों को भी संक्रमण से बचाया जाता है। सोशल डिस्टेसिग का मतलब सोशल डिस्टेसिग यानी सामाजिक डिस्टेंस यानी दूरी। इसका मतलब होता है लोगों से मिलना-जुलना, उनसे ज्यादा सम्पर्क रखना बंद कर देना। उन सभी जगहों से बचकर रहना जहां लोग इकठ्ठा हो सकते हों। जैसे स्कूल, कॉलेज, म्यूजिक कॉन्सर्ट, फेस्ट, सिनेमाघर इत्यादि। सोशल डिस्टेसिग का अर्थ शारीरिक दूरी से ही है। यह संक्रमण के चेन को तोड़ने के लिए बहुत जरुरी होता है। लेकिन सामाजिक दूरी को मानसिक दूरी में तब्दील होने से बचाने की जरूरत अधिक है।
Posted By: Jagran
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