कोरोना से बचाव की व्यवस्था के साथ खुलेंगे स्कूल

जहानाबाद : नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति में जिन तीन बिदुओं पर बल दिया गया है उससे भारत को सुपर पावर बनाने में मदद मिलेगी। शिक्षा में गुणवता, इनोवेशन और रिसर्च का समावेश किया गया है जिससे बच्चों को काफी लाभ मिलेगा। शिक्षा में बदलते ग्लोबल स्टैंडर्ड के हिसाब से भारत के एजुकेशन सिस्टम में बदलाव करने की जरूरत है। उक्त बातें स्थानीय मानस इंटरनेशनल पब्लिक स्कूल दक्षिणी के सभागार में नई शिक्षा नीति सह वर्ग नौवीं से 12वीं तक स्कूल खोलने की तैयारी आधारित कार्यशाला में संस्था के चेयरमैन डॉ. अरुण कुमार सिन्हा ने कही।

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इस अवसर पर स्कूल के निदेशक निशांत रंजन ने कहा कि शिक्षा नीति बालक के सीखने पर जोर देती है। ताकि उसमें आजीवन हर पल अपने आसपास घटित सामान्य से सामान्य घटनाओं से भी कुछ नया सीखने की क्षमता विकसित हो। भारत सरकार एवं केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के दिशा निर्देश व शर्तों के आधार पर स्कूल वर्ग नौवीं से बारहवीं तक के लिए 21 सितंबर से स्कूल की ओर से खोलने की सभी तैयारी जारी है। यहां छात्र छात्राओं को अपने माता पिता से एक सहमति पत्र व घोषणा पत्र देना होगा तभी स्कूल के लिए अनुमति मिलेगी । कोरोना वायरस से बचने के लिए मास्क थर्मल स्कैनिग ,सेनिटाइजर और दो गज दूरी पर विशेष बल दिया जाएगा। स्कूल के प्राचार्य मृत्युंजय कुमार ने कहा कि बच्चे देश के भविष्य की नींव हैं। नींव मजबूत होगी तो इमारत बुलंद होगी। सभी छात्र छात्राओं से उनके माता-पिता से कहा कि 21 सितंबर से स्कूल भेजें । इस अवसर पर रणधीर कुमार ,राकेश कुमार ,राजीव कुमार ,विनय कुमार, अविनाश अभिषेक ,योगेंद्र ,ललित शंकर, रवि कुमार, अनुराग कुमार, शंभू कुमार अमित आदि ने भी अपने-अपने विचार व्यक्त किया।
Posted By: Jagran
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