कार्तिक राज के दिल का इलाज कराकर स्वास्थ्य विभाग ने दी नई धड़कन

शिवहर। राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम के तहत शिवहर जिला की आरबीएसके टीम द्वारा एक बच्चे को नया जीवनदान दिया गया है। जिला समन्वयक डॉ. सुजीत कुमार कौशिक ने बताया कि जन्मजात बीमारियों से ग्रसित बच्चों को बीमारियों से उभारने के लिए राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम की टीमें लगातार प्रयासरत है। इसी कार्यक्रम के तहत शिवहर निवासी कार्तिक राज के दिल का इलाज करवाकर बच्चे को नई धड़कन दी गई। डॉ कौशिक ने बताया कि तीन वर्षीय कार्तिक राज की तबीयत बचपन से खराब रहती थी। उसे सांस लेने में तकलीफ होने से माता पिता चितित रहने लगे तथा इलाज के लिए भटकने लगे। तभी आरबीएसके टीम ने राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम के तहत बच्चों के स्वास्थ्य परीक्षण के दौरान कार्तिक को हृदय रोग लक्षणों से ग्रसित पाया। टीम ने कार्तिक का रेफरल कार्ड बनाकर पटना के आइजीआइएमएस में इलाज शुरू करवाया। हृदय का सफल ऑपरेशन होने पर कार्तिक के परिजनों ने टीम का धन्यवाद दिया। जिला समन्वयक डॉ. सुजीत कुमार कौशिक ने बताया कि बीमारी से ग्रसित बच्चों को रेफर कार्ड देकर इलाज के लिए उच्च चिकित्सा संस्थान में भेजा जाता है। जहां जांच-इलाज पूरी तरह निशुल्क है। योजना के तहत जिले के सभी पीएचसी में बच्चों के इलाज के लियेबसेंटर संचालित हो रहा है। जिले से आरबीएसके टीमों द्वारा बच्चों का निशुल्क पंजीयन करवा जाता है। इसके बाद रेफर्ड बच्चे पीएमसीएच, आइजीआइएमएस पटना और एसकेएमसीएच मुजफ्फरपुर भेजे जाते हैं। जहां जन्मजात जटिल बीमारियों की जांच व इलाज निशुल्क होता है।इलाज पर खर्च होने वाली राशि का बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम(आरबीएसके) के अंतर्गत निर्धारित पैकेज के अनुरूप किया जाता है।


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