नीतीश मिश्रा की जीत पर उनके गांव ठाढ़ी में जश्न का माहौल

मधुबनी। बिहार में एक बार फिर से भाजपा का जादू चला। फिर से एक बार नीतीश कुमार ही वापस आए हैं। झंझारपुर विधानसभा क्षेत्र में एक और नीतीश हवा नहीं बल्कि आंधी के रूप में सामने आए। ऐसी आंधी जिसके सामने कोई टिक नहीं पाया। जी हां हम बात कर रहे हैं जीते हुए भाजपा प्रत्याशी नीतीश मिश्रा की जिनकी आंधी में सीपीआई समेत सारे प्रत्याशी धराशायी हो गए। नीतीश मिश्रा के पक्ष में जनसमर्थन की लहर मतदान के पहले से ही महसूस हो रही थी, लेकिन यह लहर इतनी जबरदस्त होगी इसका अनुमान शायद उनको खुद भी नहीं होगा।

इस चुनाव में नीतीश मिश्रा को 90 हजार से ज्यादा मत प्राप्त हुए। वहीं उनके निकटतम प्रत्याशी रामनारायण यादव को करीब 48 हजार मत प्राप्त हुए। मतों के अंतर की बात करें तो नीतीश ने उनको करीब 42000 मतों के अंतर से हराया। अभी तक की जानकारी के अनुसार वे बिहार में एनडीए की तरफ से सबसे ज्यादा मतों के अंतर से जितने वाले प्रत्याशी हैं। शुरू से अंत तक उनकी बढ़त बनी रही। इधर उनकी जीत के लिए उनके गांव ठाढ़ी में लगातार लोग प्रार्थना करते रहे। पूरे दिन देर शाम तक लोग परिणाम के लिए टीवी से चिपके रहे। जीत सुनिश्चित होते ही गांव में जश्न मनाना शुरू हो गया। गांव के लोगों ने मंगलवार को ही दीवाली मना ली।
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जीत के बाद बुधवार की अहले सुबह से ही उनके आवास पर ग्रामीणों और समर्थकों का मेला लगना शुरू हो गया। कार्यकर्ताओं के स्वागत से प्रसन्न दिख रहे श्री मिश्रा ने कहा कि कहा यहां के साथ मेरा हमेशा से बहुत विशेष सामाजिक और राजनीतिक संबंध रहा है। और जीते जी मैं इस संबंध को बरकरार रखूंगा। उन्होंने कहा कि ठाढी प्रसिद्ध वाचस्पति मिश्र, चंदा झा और मां परमेश्वरी की भूमि है। मैं इसको शत-शत नमन करता हूं। अंधराठाढी मेरी कर्मभूमि है और मैं अंधराठाढी के विकास के लिए हमेशा प्रयत्नशील रहूंगा। इसके बाद उन्होंने प्रसिद्ध परमेश्वरी मंदिर और प्राचीन दुर्गास्थान पहुंचकर दोनों मंदिरों में पूजा अर्चना की और आशीर्वाद लिया।
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