लोहे की रॉड से पीट कर व दाब से गला रेत सब-इंस्पेक्टर की हत्या, इलाके में फैली सनसनी

सारण जिले के अवतार नगर थाना क्षेत्र के डुमरीजुअरा हॉल्ट के समीप समस्तीपुर जिले के मुफस्सिल थाने में तैनात सब-इंस्पेक्टर राणा रविरंजन प्रताप सिंह की लोहे के रॉड व दाब के प्रहार से हत्या कर दी गई। हत्या की खबर की सूचना मिलते ही इलाके में सनसनी फैल गयी। सब-इंस्पेक्टर मंगलवार से ही गायब थे। उनके शव को देखने से ऐसा प्रतीत होता है कि गर्दन व सिर पर वार कर हत्या की गई है। 

मृतक सब-इंस्पेक्टर राणा रवि रंजन प्रताप सिंह अवतार नगर थाना क्षेत्र के नरांव निवासी देवेंद्र सिंह के 55 वर्षीय पुत्र थे। जानकारी के अनुसार सब-इंस्पेक्टर मंगलवार को दोपहर में अपनी ड्यूटी से छुट्टी लेकर घर आए थे। संध्या समय घर से सब्जी खरीदने धनौरा बाजार आए थे। यहां से सब्जी खरीद घर भेज दिए और स्वयं घर नहीं लौटे। लगभग 7 बजे संध्या के करीब घर से फोन आया तो वह बोले के थोड़ी देर में घर लौट रहे हैं लेकिन जब वह रात 8 बजे तक नहीं लौटे तो पुन: उनके मोबाइल पर बात करने का प्रयास किया गया। उनका मोबाइल स्विच ऑफ बता रहा था। इसके बाद परिजन परेशान होने लगे। 
रात 10 बजे तक जब वह घर नहीं लौटे तो चारों तरफ उनकी खोजबीन शुरू की गई। रिश्तेदारों के यहां भी फोन पर पता लगाने की कोशिश की गई लेकिन कोई सुराग नहीं मिला। इसके बाद सुबह राणा रवि रंजन प्रताप सिंह के पुत्र अमन प्रताप ने अपने पिता के अपहरण की आशंका व्यक्त करते हुए अवतार नगर थाने में एक प्राथमिकी दर्ज कराई। इसके बाद अवतार नगर पुलिस के साथ ग्रामीण भी चारों तरफ खोजबीन करने लगे। 
संध्या पांच तक शक के आधार पर डोरीगंज थाना क्षेत्र के काजीपुर गांव व विभिन्न जगहों पर छापेमारी कर पता लगाने का प्रयास किया गया लेकिन कोई पता नहीं चला। छापेमारी के दौरान ही जब अवतार नगर पुलिस व ग्रामीण डुमरी जुअरा स्टेशन के समीप पहुंचे कि तभी एक युवक ने स्टेशन के समीप खेत में एक शव होने की बात पुलिस को बताई। इसके बाद ग्रामीण व पुलिस मौके पर पहुंचे तो शव की पहचान राणा रवि रंजन प्रताप सिंह के रूप में हुई। शव मिलने की सूचना मिलते ही घटनास्थल पर आसपास के गांवों के सैकड़ों लोगों की भीड़ जुटनी शुरू हो गई।
शव के नजदीक लोहे की रॉड व दाब मिला सब-इंस्पेक्टर राणा रविरंजन प्रताप सिंह का शव जहां मिला उसके बगल में लोहे का रॉड व दाब मिला है। वहीं घटनास्थल के कुछ दूरी पर प्लास्टिक का चार पांच गिलास भी पड़ा था। इससे प्रतीत होता है कि घटना को अंजाम देने के पहले अपराधियों ने शराब पी थी। हालांकि सब-इंस्पेक्टर राणा रवि रंजन प्रताप सिंह तंबाकू का भी नशा नहीं करते थे। वहीं गेहूं की बर्बाद फसल को देख ऐसा लगा कि हत्या के पहले अपराधियों व सब-इंस्पेक्टर के बीच पहले काफी धक्का-मुक्की हुई थी लेकिन अपराधियों की संख्या अधिक होने के कारण सब-इंस्पेक्टर हार गये और अपराधी हत्या कर चले गए। वहीं हत्या करने के बाद शव को गेहूं के खेत के सटे नहर में उगे घास के बीच छिपा दिया गया।
सब-इंस्पेक्टर का है एक पुत्र व तीन पुत्रियां सब-इंस्पेक्टर को तीन पुत्रियां व एक पुत्र हैं। दो पुत्रों की शादी हो चुकी है। मौत की खबर सुनते ही घर में कोहराम सा मच गया। दरवाजे पर महिलाओं का शव मिलने वाली जगह पर पुरुषों की भीड़ काफी संख्या में जुटने लगी। दरवाजे पर लगी भीड़ मृतक के परिजनों को सांत्वना प्रदान कर रही थी।
वर्ष 2016 में हुई थी भाई की हत्या वर्ष 2016 में झारखंड के हजारीबाग में राणा रवि रंजन प्रताप के छोटे भाई गुड्डू की भी हत्या लोहे के रॉड से से मारकर की गई थी। आज फिर पांच वर्ष पूरा होते-होते बड़े भाई की भी हत्या हो गई। दोनों भाई की मौत एक सामान होने से सभी लोग हतप्रभ हैं।

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