जन्मदिन: 'रामाधीर सिंह' बनकर छाए तिग्मांशु धूलिया, घरवालों से बगावत कर की थी लव मैरिज

यूपी के इलाहाबाद से राइटर, डायरेक्टर, प्रोडयूसर और एक्टर के रूप में अपनी अलग छाप छोड़ने वाले तिग्मांशु धूलिया का गहरा नाता है। 3 जुलाई 1967 को यहां जन्मे तिग्मांशु हासिल, पान सिंह तोमर, बुलेट राजा जैसी फिल्मों का डायरेक्शन और गैंग्स ऑफ वासेपुर में बेहतरीन एक्टिंग कर चुके हैं। तिग्मांशु का सफर काफी लंबा हो चुका है। उन्होंने साल 1990 में मुंबई आकर सबसे पहले कास्टिंग डायरेक्टर का काम किया। उन्होंने 'बैंडिट क्वीन' और 'द वॉरियर' जैसी फिल्मों के लिए कास्टिंग की थी। कास्टिंग डायरेक्टर के बाद तिग्मांशु ने केतन मेहता की फिल्म 'सरदार' और प्रदीप कृष्ण की 'इलेक्ट्रिक मून' में असिस्टेंट डायरेक्टर का काम भी किया। तिग्मांशु ने 'दिल से' और 'तेरे मेरे सपने' में स्क्रीन राइटर का काम भी किया है। निर्देशन की पकड़ी लाइन डायरेक्टर के तौर पर तिग्मांशु ने अपनी पहली फिल्म 'हासिल' बनाई थी जिसे युवाओं के साथ-साथ सभी की सराहना मिली। इस फिल्म के लिए एक्टर इरफान खान ने निगेटिव रोल में फिल्मफेयर से बेस्ट एक्टर का अवॉर्ड जीता। तिग्मांशु की फिल्म 'पान सिंह तोमर' को 'बेस्ट फीचर फिल्म' का नेशनल अवॉर्ड भी दिया गया है। फिल्म पान सिंह तोमर बायोपिक फिल्म थी। फिल्म में इरफान खान ने मुख्य भूमिका निभाई थी। इरफान को इसके लिए राष्ट्रीय पुरस्कार मिला था।

अक्सर ऐसा देखा गया है कि एक इंसान किसी एक या दो चीजों में महारत हासिल करता है। लेकिन तिग्मांशु धूलिया के साथ ऐसा नहीं है। वो स्क्रिप्ट राइटर, निर्देशक, निर्माता और एक्टर सब कुछ बने और सभी में बेहतरीन काम किया। लोग यूं ही नहीं तिग्मांशु धूलिया की फिल्मों को देखने के लिए बेताब रहते हैं। तिग्मांशु ने अपनी ही फिल्म 'गैंग्स ऑफ वासेपुर' में रामाधीर सिंह का किरदार निभाया था, जो काफी फेमस हुआ था। तिग्मांशु डायरेक्शन के साथ-साथ 'गैंग्स ऑफ वासेपुर', 'साहेब बीवी और गैंगस्टर', 'शाहिद' और 'तेवर' जैसी फिल्मों में अपनी एक्टिंग का टैलेंट दिखा चुके हैं।
तिग्मांशु धूलिया का थिएटर करने के पीछे भी दिलचस्प किस्सा है। उन्होंने इलाहाबाद विश्वविद्यालय से इंग्लिग, इकॉनोमिक्स और मेडुअल हिस्ट्री से बीए किया। इसी दौरान उनका जुड़ाव थिएटर से हो गया। यहीं वो कैंपस में थिएटर करने लगे। थिएटर वाले शौक की वजह से घर वाले उनसे नाराज रहते थे। इसके बावजूद भी वो अपनी जिद पर अड़े रहे। 1986 में बीए पूरा करने के बाद उन्होंने नेशनल स्कूल ऑफ ड्रामा दिल्ली में एडमिशन ले लिया।
तिग्मांशु का बड़ा भाई नेवी अफसर और एक भाई हाईकोर्ट में जज हैं। बस उनके पिता इसी बात से नाराज थे कि वो थिएटर क्यों कर रहे हैं। लेकिन तिग्मांशु ने फिल्में बनाने और एक्टर बनने का सपना पूरा करने की ठान ली थी। जो उन्होंने पूरा किया।
तिग्मांशु धूलिया की फिल्मों के तो कई किस्से मशहूर हैं लेकिन उनकी लव लाइफ भी कुछ कम दिलचस्प नहीं है। तिग्मांशु अपने पड़ोस में रहने वाली तूलिका धूलिया को दिल दे बैठे थे। उनका अफेयर नौवीं क्लास में शुरू हुआ था। तब तूलिका आठवीं क्लास में पढ़ती थीं। तूलिका के घर वालों ने उनकी छिपाकर शादी तय कर दी थी और इस बात की भनक जब उन्हें लगी तो वो तिग्मांशु के पास आईं। तिग्मांशु घरवालों से बगावत करके शादी करने को तैयार नहीं थे। लेकिन जब उनके दोस्तों और तूलिका ने समझाया तो दो दिन बाद वो तैयार हुए। 1989 में उनके दोस्तों ने दिल्ली के आर्य समाज मंदिर में उन दोनों की शादी करा दी। उन्होंने उस वक्त लव मैरिज की थी, जब इस बात के लिए कोई तैयार नहीं होता था। फिलहाल, तिग्मांशु तूलिका के साथ मुंबई में रहते हैं।

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