अनियंत्रित जनसंख्या समाजिक समस्या के साथ देश के लिए उचित नहीं

संवाद सूत्र, फारबिसगंज(अररिया): अनियंत्रित जनसंख्या का विस्फोटक रूप समाजिक समस्या है। इतना ही नहीं यह स्वास्थ के साथ साथ बढ़ते अपराध, आतंकवाद, गरीबी, कुपोषण, प्रदूषण, बेकारी, जल जंगल और जमीन की कमी जैसे गम्भीर समस्या को उपजाने लगी है। इस हेतु देश और बिहार के सर्वांगीण विकास के लिए जनसंख्या नियंत्रण कानून अति आवश्यक है। उक्त बातें विश्व जनसंख्या दिवस पर जनसंख्या समाधान फाउंडेशन के प्रदेश उपाध्यक्ष प्रवीण कुमार ने यहां पत्रकारों के बीच अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कही। कुमार ने कहा कि विश्व की कुल भूमि का दो प्रतिशत और चार प्रतिशत जल की भागीदारी रखने वाला भारत विश्व के 17 प्रतिशत जनसंख्या का भार वहन कर रहा है।उन्होंने कई अनेकों गम्भीर समस्याओं का उत्तरदायी बनता जा रहा बेहताशा जनसंख्या वृद्धि पर चिता प्रकट करते कहा कि उत्तर प्रदेश व असम सरकार द्वारा दो संतान वाली नीति अपनाने जा रही जो देश हित में सकारात्मक कदम है कहा कि समय आ गया है अब हम दो हमारे दो ही नही बल्कि सबके दो की नीति को बिहार सहित पूरे देश मे कानून बनाकर लागू किया जाय। अन्यथा भारत मे कैंसर की तरह बनती चली जा रही है बढ़ती जनसंख्या का निराकरण न किया गया तो जिस तरह कैंसर होने से लोगों की मौत हो जाती है।ठीक उसी तरह इसके विस्फोट से देश के सभी कायदे कानून से लेकर लोककल्याण की योजनाएं विफल हो जाएगी। प्रदेश उपाध्यक्ष कुमार ने आगे कहा कि फाउंडेशन पिछले 13 वर्षों से पूरे देश में आमजन को जागरूक करने के साथ सरकार से कानून बनाने की मांग करती आ रही है और जब तक सरकार द्वारा जनसंख्या नियंत्रण संबंधी सख्त कानून को संसद से पारित कर लागू नही किया जाता जनसंख्या समाधान फाउंडेशन का कार्यक्रम और संविधान सम्मत आंदोलन जारी रहेगा।


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