143 शिक्षकों के प्रमाणपत्र की होगी निगरानी जांच

समस्तीपुर। शिक्षा विभाग के आदेश पर निगरानी जांच के लिए जिन नियोजन शिक्षकों ने प्रमाणपत्रों को पोर्टल पर अपलोड नहीं किया है, उन्हें एक बार फिर से अंतिम मौका दिया गया है। सूचना विज्ञान केंद्र द्वारा ऐसे शिक्षकों के प्रमाणपत्र अपलोड करने हेतु वेब पोर्टल को पुन: 23 से 31 अगस्त तक खोला जा रहा है। जिला कार्यक्रम पदाधिकारी माध्यमिक ने स्पष्ट निर्देश दिया है कि इस अवधि में वैसे शिक्षक जिनका प्रमाण पत्र अपलोड नहीं किया जा सका है, के प्रमाण पत्रों को निर्धारित अवधि में अपलोड करना सुनिश्चित करेंगे। शिक्षा विभाग ने निगरानी जांच से वंचित तथा प्रमाण पत्र अपलोड नहीं करने वाले शिक्षकों के लिए इसे अंतिम मौका करार दिया है। उक्त तिथि के बाद प्रमाण पत्र अपलोड करने का अवसर नहीं दिया जाएगा। पंचायती राज संस्थान एवं नगर निकाय संस्थान अंतर्गत 2006 से 2015 की अवधि में नियुक्त शिक्षकों को एनआईसी द्वारा जिला में बने वेबपोर्टल पर अपने-अपने प्रमाणपत्रों को अपलोड करने का एक और मौका मिला है। 413 शिक्षकों ने प्रमाणपत्र नहीं किया अपलोड


जिला शिक्षा कार्यालय से मिली जानकारी के मुताबिक पिछले पांच साल से नियोजित शिक्षकों की नियुक्ति संबंधी निगरानी जांच चल रही है। 11 हजार 454 शिक्षकों में से 3545 शिक्षकों के प्रमाणपत्रों के नियोजन फोल्डर जांच के लिए निगरानी जांच टीम को नहीं मिली। तब संबंधित शिक्षकों के प्रमाण पत्रों को पोर्टल पर अपलोड करने कराने का फैसला लिया गया था। पिछले महीने 3132 शिक्षकों ने प्रमाण पत्रों को पोर्टल पर अपलोड कर दिया। सिर्फ 413 शिक्षकों ने प्रमाणपत्रों को पोर्टल पर अपलोड नहीं किया जा सका। इसमें से 270 ऐसे हैं जिनकी मृत्यु, सेवानिवृति, त्याग पत्र या सेवा में नहीं रहने वाले शिक्षक है। शेष 143 शिक्षक का यूएएन में गड़बड़ी एवं अन्य तकनीक गड़बड़ी के कारण वेब पोर्टल पर अपलोड नहीं किया जा सका है। प्रमाणपत्र अपलोड नहीं करने वाले के लिए अंतिम मौका
ऐसे शिक्षकों को इस बार अंतिम मौका दिया गया है ताकि पोर्टल पर प्रमाण पत्रों को अपलोड कर सकें। यदि इस अवधि में भी पोर्टल पर प्रमाण पत्रों को अपलोड नहीं किया जाएगा तो नियमानुसार सेवा समाप्ति यानी बर्खास्तगी की कार्रवाई होगी।

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