सार्वजनिक स्थलों पर दस फलदार पौधा लगाने की शर्त पर एडीजे कोर्ट ने दी जमानत

मधुबनी। झंझारपुर के एडीजे अविनाश कुमार (प्रथम) के कोर्ट का जमानत देने के मामले में प्राय: हर फैसला में आरोपितों को सामाजिक कार्य से जोड़ने का बेहतर प्रयास किया जा रहा है। इसी कड़ी में फुलपरास थाना कांड संख्या 46/2018 में आरोपित महथौर गांव निवासी बौआ यादव के पुत्र महेंद्र यादव को जमानत देने के लिए सार्वजनिक स्थल, मंदिर एवं पार्क में दस फलदार पौधा लगाने एवं पौधा की सुरक्षा के लिए घेराबंदी करने की शर्त के साथ जमानत अर्जी स्वीकार की गई है।

उल्लेखनीय है कि महथौर गांव निवासी सरो देवी ने महेंद्र यादव सहित अपने ही गांव के दस लोगों पर घातक हथियार के साथ घर में घुस कर मारपीट और फायरिग करने के साथ ही उसे जबरन अपने घर से बाहर निकालने का आरोप लगाते हुए फुलपरास थाना में 20 मार्च 2018 को प्राथमिकी दर्ज कराई थी। इस मामले में आरोपित महेंद्र यादव चार जून 2021 से जेल में बंद है। दोनों पक्षों के अधिवक्ताओं के जोरदार दलीलों को सुनने के बाद एडीजे अविनाश कुमार (प्रथम) की अदालत ने 10-10 हजार के दो मुचलकों के साथ ही सार्वजनिक स्थलों यथा मंदिर परिसर एवं पार्क में 10 फलदार पौधा लगाने के साथ ही उसकी घेराबंदी करने के बाद जमानत पर रिहा होने के 30 दिनों के भीतर लगाए गए पौधों का फोटोग्राफ कोर्ट में जमा करने की शर्त पर जमानत मंजूर की है। एडीजे कोर्ट के द्वारा जमानत के लिए रखी गई शर्त की चहुंओर प्रशंसा हो रही है। मधुबनी। झंझारपुर के एडीजे अविनाश कुमार (प्रथम) के कोर्ट का जमानत देने के मामले में प्राय: हर फैसला में आरोपितों को सामाजिक कार्य से जोड़ने का बेहतर प्रयास किया जा रहा है। इसी कड़ी में फुलपरास थाना कांड संख्या 46/2018 में आरोपित महथौर गांव निवासी बौआ यादव के पुत्र महेंद्र यादव को जमानत देने के लिए सार्वजनिक स्थल, मंदिर एवं पार्क में दस फलदार पौधा लगाने एवं पौधा की सुरक्षा के लिए घेराबंदी करने की शर्त के साथ जमानत अर्जी स्वीकार की गई है।

उल्लेखनीय है कि महथौर गांव निवासी सरो देवी ने महेंद्र यादव सहित अपने ही गांव के दस लोगों पर घातक हथियार के साथ घर में घुस कर मारपीट और फायरिग करने के साथ ही उसे जबरन अपने घर से बाहर निकालने का आरोप लगाते हुए फुलपरास थाना में 20 मार्च 2018 को प्राथमिकी दर्ज कराई थी। इस मामले में आरोपित महेंद्र यादव चार जून 2021 से जेल में बंद है। दोनों पक्षों के अधिवक्ताओं के जोरदार दलीलों को सुनने के बाद एडीजे अविनाश कुमार (प्रथम) की अदालत ने 10-10 हजार के दो मुचलकों के साथ ही सार्वजनिक स्थलों यथा मंदिर परिसर एवं पार्क में 10 फलदार पौधा लगाने के साथ ही उसकी घेराबंदी करने के बाद जमानत पर रिहा होने के 30 दिनों के भीतर लगाए गए पौधों का फोटोग्राफ कोर्ट में जमा करने की शर्त पर जमानत मंजूर की है। एडीजे कोर्ट के द्वारा जमानत के लिए रखी गई शर्त की चहुंओर प्रशंसा हो रही है।

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