आखिर कब मिलेगी शहर को जाम से मुक्ति

संस, सहरसा: दुर्गा पूजा संपन्न होने के बाद भी सहरसा प्रमंडलीय मुख्यालय को जाम से मुक्ति नहीं मिली है। हर दिन पूरा शहर कम- से- कम चार- पांच घंटा जाम का दंश झेलने के लिए मजबूर है। ऊपर से जब बालू, स्टोनचिप्स आदि का रैक लगता है तो स्थिति और भी विकराल हो जाती है। जाम की समस्या के समाधान हेतु विगत दो दशक से भी अधिक समय से ओवरब्रिज निर्माण को लेकर राजनीति हो रही है, परंतु आज तक इस दिशा में कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई।

शहर में जगह- जगह अतिक्रमण के कारण लोगों की परेशानी दिनभर बढ़ती जा रही है। बारिश हो या प्रचंड धूप खासकर बंगाली बाजार और गंगजला रेलवे गुमटी पर लोग घंटों फंसे रहते हैं। जाम के कारण जहां स्कूल- कालेज जानेवाले बच्चों, कार्यालय जानेवाले कर्मियों को ही नहीं एंबुलेंस को भी घंटों फंसा रहना पड़ता है। जिला प्रशासन और रेल प्रशासन के बीच हुए वार्ता के अनुसार एक समय में एक ही गाड़ी की शटिग करायी जानी है, ताकि लोगों को 15 मिनट से अधिक रेलवे गुमटी पर फंसने की नौबत नहीं आए, परंतु रेल प्रशासन द्वारा इस ओर ध्यान नहीं दिया जा रहा है। कई बार एक समय में तीन- तीन ईंजन व गाड़ियों का शटिग करायी जाती है, जिसके कारण घंटे भर रेलवे गुमटी बंद हो जाता है। इसके कारण पूरा शहर घंटों अस्त-व्यस्त हो जाता है। जबतक एक जाम से सड़क को निजात मिलती है, तबतक दोबारा मालगाड़ी, यात्री गाड़ी या ईंजन की शटिग के कारण रेलवे गुमटी बंद हो जाता है। इस प्रकार दिनभर सहरसा के लोग जाम से जूझते रहते हैं। लोगों का नियत समय पर कहीं पहुंचना बेहद कठिन हो गया है।

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