कोरोना ने डूबोई बच्चों की शिक्षा, नए साल में बढ़ी उम्मीदें

समस्तीपुर। नया साल 2022 में शिक्षा व्यवस्था में बेहतर होने के प्रबल आसार हैं। यदि सबकुछ ठीक रहा तो बच्चों के सपने साकार हो सकेंगे। कोरोना काल की समाप्ति होगी और बच्चों का भविष्य सुनहरा होगा। जिले में मेडिकल कालेज व इंजीनियरिग कालेज खुलने की उम्मीदें बढ़ गई है। नए साल में इंजीनियरिग की पढ़ाई शुरू होने की संभावना है। नए साल में तकनीकी शिक्षा के तरफ जिले के छात्रों का बढ़ता कदम होगा। डा. राजेंद्र प्रसाद केंद्रीय कृषि विवि में तीन नये सर्टिफिकेट कोर्स में नामांकन होगा। यहां गन्ना, मशरूम और मत्स्य उत्पादन का गुर छात्र सीखेंगे। बलिराम भगत महाविद्यालय में पीजी की पढ़ाई शुरू होगी। इसके अलावा प्राक् प्रशिक्षण केंद्र के माध्यम से बीपीएससी, रेलवे, एसएससी, बैंक सहित अन्य प्रतियोगी परीक्षा की तैयारी को लेकर निशुल्क कोचिग की सुविधा मिलेगी। इसकी प्रक्रिया तेजी से चल रही है। बालिका शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए जिले के सभी बालिका कस्तूरबा विद्यालयों की प्रोन्नति दी गई है। अभी तक सभी कस्तूरबा विद्यालय में केवल आठवीं तक की पढ़ाई व छात्रावास की व्यवस्था है, लेकिन नए साल में सभी कस्तूरबा विद्यालय में प्लस टू तक की पढ़ाई व छात्रावास की व्यवस्था की जाएगी। जिले में 15 उच्च विद्यालयों के जर्जर कमरे का निर्माण कराया जाना है। इसके अलावा 110 भवनहीन विद्यालयों में भवन का निर्माण कराया जाएगा। ऑनलाइन शिक्षा की कवायद हुई थी तेज

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कोरोना काल के चलते शिक्षा व्यवस्था में कई बदलाव हुए। बच्चों को ऑनलाइन शिक्षा दिलाने पर फोकस दिया गया। दूरदर्शन व इंटरनेट मीडिया फेसबुक, वाट्सएप आदि के माध्यम बच्चों को शिक्षा देने की कोशिश हुई। हालांकि, अधिकांश बच्चे स्मार्ट मोबाइल नहीं रहने के चलते ऑनलाइन शिक्षा से वंचित रह गए। विभाग ने ऑनलाइन तरीके से ही विद्यार्थियों तक पढ़ाई से जुड़ी सामग्री मुहैया कराई थी। दूरदर्शन के माध्यम से पठन-पाठन संचालित हुई थी। स्कूली बच्चों का बनेगा ई-प्रोफाइल
नए साल में स्कूली बच्चों का ऑनलाइन ई-प्रोफाइल विकसित किया जाएगा। राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के तहत एजुकेशन पोर्टल के माध्यम से प्रत्येक विद्यालय द्वारा छात्र-छात्राओं का विवरण ऑनलाइन किया जाना है। विद्यालयी शिक्षा विभाग द्वारा छात्र-छात्राओं के रजिस्ट्रेशन हेतु एजुकेशन पोर्टल पर ऑनलाइन फारमेट विकसित किया जाएगा। शिक्षकों को दक्ष बनाने से बच्चों की होगी बेहतर शिक्षा :
जिले में समग्र शिक्षा अभियान के तहत सभी विद्यालयों में लैब, लाइब्रेरी और कम्प्यूटरों की शिक्षा बच्चों को सुचारू रूप से मिलेगी। छात्रों को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा देने के लिए प्रत्येक महीने बीआरसी पर शिक्षकों को प्रशिक्षण दिया जाएगा। शिक्षकों के प्रोफेशनल विकास पर जोर दिया जाएगा। प्रशिक्षण के माध्यम से शिक्षकों को और अधिक दक्ष बनाया जाएगा ताकि वे बच्चों को और बेहतर शिक्षा प्रदान कर सकें। मैट्रिक और इंटर परीक्षा में शामिल होने वाले बच्चों के लिए विशेष कक्षाओं का संचालन भी शुरू किया जाएगा। वर्जन
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नए वर्ष में नए उमंग उत्साह के साथ स्कूलों में बच्चों के भविष्य को संवारने का प्रयास होगा। बच्चों की क्षति को पूरा करने की हर संभव कोशिश की जा रही है। पूरी उम्मीद है कि नए वर्ष में शिक्षा के क्षेत्र में समस्तीपुर का पहचान होगा। इसके लिए हर संभव कोशिश की जा रही है। सभी लंबित कार्यों को पूर्ण करते हुए बेहतर शैक्षणिक माहौल बनाने पर जोर दिया जाएगा। बच्चों को बेहतर और गुणवत्तापूर्ण शिक्षा देने के लिए नई-नई पहल की जाएगी। अभिभावकों से अपील है कि वे अपने बच्चों को नियमित स्कूल भेजें और उनकी पढ़ाई को लेकर सजग रहें।
मदन राय
जिला शिक्षा पदाधिकारी, समस्तीपुर।
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समाजसेवी कुणाल कुमार ने बताया कि आज सभी को शिक्षित होना जरूरी है। जिले में अक्षर आंचल योजना के तहत साक्षर करने की योजना चल रही है। फिर भी काफी संख्या में लोग अशिक्षित है। इसको लेकर वे भी लोगों को पढ़ाई करने के लिए जागरूक कर रहे है। विद्यार्थियों के जीवन की शैली में जो परिवर्तन आया है वह सबसे अधिक संस्कारों का है। आज का विद्यार्थी मेधावी, इंफॉर्मेशन टेक्नोलॉजी में बहुत अधिक रुचि रखता है लेकिन सुसंस्कारित नहीं है। बच्चों को उनके जीवन के उद्देश्यों के प्रति जागरूक करने की जरूरत है। इसको लेकर विद्यालयों में छात्रों को जागरूक करने के लिए पहल करेंगे।

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