जब्ती और विनष्टिकरण में 39 लीटर शराब गायब

जागरण संवाददाता, शेखपुरा:

जिला में शराब के खिलाफ चल रही कार्रवाई में पुलिस और प्रशासन का बड़ा खेला होने का मामला सामने आया है। पुलिस और प्रशासन के इस खेला को अदालत ने पकड़ा है। इस मामले में संज्ञान लेते हुए विशेष अदालत ने उत्पाद अधीक्षक,अनुमंडल पदाधिकारी तथा अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी को नोटिस भेजकर जबाव मांगा है। विशेष अदालत के रिमांड अधिवक्ता आतोष कुमार सिन्हा ने बताया इस तरह के कई मामले सामने आ रहे हैं। इससे पुलिस और प्रशासन की नीयत पर सवाल उठने शुरू हो गए हैं। यह मामला कार्रवाई में जब्त हुई शराब और उसके नष्ट करने की मात्रा में बड़े अंतर से जुड़ा हुआ है। जिस मामले में कोर्ट ने संज्ञान लिया है वह मुरारपुर गांव से जुड़ा है। इस मामले में कोरमा थाने में दर्ज प्राथमिकी 15 अक्टूबर, 2021 के मुताबिक पुलिस ने मुरारपुर से 105 लीटर शराब जब्त किया था। बाद में जब जब्त शराब को नष्ट किया गया, तब उसमें इसकी मात्रा 66 लीटर बताई गई। इस हिसाब से 39 लीटर शराब कहां चली गई। इसी मामले की सुनवाई में पुलिस अदालत में अपनी गवाही दर्ज करने आई थी, तब अदालत ने इस गैप को पकड़ा। बता दें इस तरह का बड़ा मामला 2018 में तत्कालीन डीएम योगेंद्र सिंह ने भी पकड़ा था, मगर उस मामले का कोई परिणाम नहीं निकला।

शराब तस्कर को पांच साल की सजा
जागरण संवाददाता शेखपुरा
शेखपुरा की विशेष मद्य निषेध अदालत ने शुक्रवार को एक शराब तस्कर को शराबबंदी कानून के तहत दोषी ठहराते हुए उसे पांच साल की कैद और एक लाख रुपये का जुर्माना की सजा सुनाई है। मद्य निषेध के रिमांड अधिवक्ता आतोष कुमार सिन्हा ने बताया यह मामला जिले के शेखोपुरसराय थाना के अंबारी गांव का है। पुलिस ने 2020 में अंबारी गांव में चंदन कुमार के घर में छापेमारी करके बड़ी मात्रा में अंग्रेजी शराब बरामद किया था। इसी मामले में शुक्रवार को विशेष अदालत के न्यायधीश अपर जिला एवं सत्र न्यायधीश राजीव कुमार ने आरोपित को दोषी करार देते हुए पांच साल की कैद की सजा सुनाई। कैद की सजा के साथ आरोपित को एक लाख रुपये का जुर्माना भी भरना पड़ेगा।

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