योजना के नाम पर लूट-खसोट, उच्चाधिकारियों के पास पहुंच रहा पंचायतों का सारा खेल

बगहा। ज्यादातर पंचायतों में नल-जल योजना के नाम पर लूट हुई है। कहीं अधूरे काम का पूरा भुगतान करा लिया गया है तो कहीं काम ठीक नहीं होने की वजह से लोगों को नल से जल नहीं मिल रहा है। इसकी जांच के लिए मुख्य सचिव द्वारा जिला स्तरीय एक टीम गठित की गई थी। टीम ने बगहा दो प्रखंड के सभी पंचायतों की जांच पूरी कर ली है। जांच में जो खामियां मिल रही है, उन्हें अधिकारी सूचीबद्ध कर रिपोर्ट तैयार कर रहे हैं। पंचायतों में हुए खेल की फाइल डीएम के जरिए मुख्य सचिव को भेजी जा रही है।

पीएम आवास योजना में जनप्रतिनिधि व कर्मचारियों ने खूब कमाई की। बजट कम होने के कारण लाभार्थी आवास का निर्माण नहीं करा पा रहे हैं। कई स्कूलों में गुणवत्तापूर्ण शौचालय का निर्माण नहीं हो पाया है। राशन वितरण प्रणाली में घटतौली की शिकायतें आम है। हालांकि जांच प्रक्रिया गोपनीय होने के चलते अभी तक किसी पंचायत में गड़बड़ी उजागर नहीं हो पाई है। हर अधिकारी दूसरे कार्यक्षेत्र में जाकर योजनाओं की जांच कर रहे हैं।
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इस बाबत मुखिया संघ के प्रखंड अध्यक्ष उपेंद्र दीक्षित ने कहा कि गांवों में नल-जल योजना का जो भी काम ठप है, उसे अधिकारी चालू कराने का प्रयास करें। जहां तक योजनाओं में भ्रष्टाचार की बात है तो इसमें निष्पक्षता से जांच होनी चाहिए। हर कड़ी को जोड़ा जाना चाहिए। पंचायतों के विकास के लिए हम सभी मुखिया प्रयासरत हैं। इन योजनाओं की हो रही जांच
करीब डेढ़ माह से मुख्य सचिव के निर्देश पर पंचायतों में मनरेगा, पेंशन, पीडीएस, आवास, सात निश्चय नल-जल, गली-नाली, जन वितरण प्रणाली, विद्यालय और जल-जीवन-हरियाली योजना की जांच हो रही है। इस कार्य में जिला स्तरीय अधिकारियों के अलावा एसडीएम, ईओ, बीडीओ व सीओ को भी लगाया गया है। ब्लाक स्तरीय अधिकारियों को दूसरे कार्यक्षेत्र में भेजकर जांच रिपोर्ट मांगी जा रही है। बगहा प्रखंड दो के सभी 25 पंचायतों की जांच पूरी हो चुकी है। जांच रिपोर्ट डीएम को भेजी गई है। कहां अनियमितता मिली इसका पर्दाफाश अभी नहीं हो पाया है। उच्चाधिकारियों के निर्देश के क्रम में आगे की कार्रवाई की जाएगी।
- जयराम चौरसिया, बीडीओ, बगहा दो।

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