जिले के 18 सौ तालाबों को मिलेगा नवजीवन

संस, सहरसा: पशु एवं मत्स्य विभाग ने राज्य में जल संचयन और मछली उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए सरकारी तालाबों के साथ-साथ निजी तालाबों के जीर्णोद्धार की योजना बनायी है। इस फैसले से सहरसा जिले के लगभग 18 सौ सरकारी निजी तालाब के बहुरेंगे। इन तालाबों में मत्स्यपालन किया जाएगा। मत्स्यपालन किए जाने से लोगों को लाभ होगा और इलाके की अर्थव्यवस्था भी मजबूत होगी। इस योजना के तहत सामान्य वर्ग और अनुसूचित जाति- जनजाति वर्ग को जीर्णोद्धार और नए तालाब के निर्माण में अलग-अलग अनुदान की व्यवस्था की जाएगी।

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सामान्य वर्ग को 30 और एससी- एसटी को मिलेगा 40 फीसद अनुदान
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पशु एवं मत्स्य विभाग ने निजी तालाबों के जीर्णोद्धार के लिए राज्य सरकार ने सामान्य वर्ग को लागत मूल्य पर 30 फीसद और अनुसूचित जाति- जनजाति वर्ग को 40 फीसद अनुदान का प्रावधान किया है। विभाग द्वारा विज्ञापन के आधार पर आवेदन आमंत्रित किया जाएगा। अनुदान की राशि लाभुक को दो किस्तों में दिया जाएगा। तालाब के निर्माण व जीर्णोद्धार के लिए लाभुक शेष राशि स्वयं या बैंक से ऋण लेकर खर्च करेंगे।
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मत्स्यपालन योजना का दिया जाएगा बढ़ावा
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तालाबों के जीर्णोद्धार के साथ विभाग मछली पालन योजना को बढ़ावा दिया जाएगा। इसमें केंद्र व राज्य सरकार द्वारा चलाई जा रही योजनाओं से मछली पालन कराया जाएगा। मछली के बच्चा से लेकर चारा की खरीद तक अनुदान दिया जाएगा। सरकार राज्य से दूसरे प्रदेशों तक मछली की बिक्री के लिए भी योजना बना रही है। इस लिहाज से सरकारी तालाबों के साथ-साथ निजी तालाबों के जीर्णोद्धार के लिए अनुदान का प्रावधान किया गया है।
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मत्स्यपालन के साथ- साथ निजी तालाबों के जीर्णोद्धार हेतु अनुदान का प्रावधान किए जाने से जलसंचयन के साथ मत्स्यपालन को भी बढ़ावा मिलेगा। इससे इलाके के लोगों को फायदा मिलेगा और क्षेत्र का भी आर्थिक उन्नयन होगा।
अंजनी कुमार
जिला मत्स्य पदाधिकारी, सहरसा।

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