आवारा कुत्तों के काटने से मरीजों पर खर्च हुए 14 लाख

संसू, नवहट्टा (सहरसा)। गर्मी में कुत्तों का आतंक भी बढ़ जाता है । कुत्ता काटने काटने के बाद प्रभावित मरीज को एंटी रेबीज वैक्सीन लेना आवश्यक होता है। सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र का के इस वर्ष के आंकड़ों के अनुसार अब तक 710 मरीजों को एंटी रेबीज का वैक्सीन दिया गया है। एक मरीज को पांच वैक्सीन लगाया जाता है ।अस्पताल में निशुल्क दिया जाता है। लेकिन इसपर होने वाले खर्च को देखे तो एक मरीज पर लगभग दो हजार खर्च आता है ।

---
वैक्सीन का बाजार मूल्य
----
बाजार में ब्रांडेड कंपनियों की एंटी रेबीज वैक्सीन यानी एआरवी 350 लेकर 400 रुपये तक में उपलब्ध हैं। रेबीज से बचने के लिए मरीज को कम से कम पांच इंजेक्शन लगवाने ही पड़ते हैं। ऐसे में मरीज को दो हजार रुपये खर्च करने ही पड़ेंगे ।

----
जन औषधि केंद्र में मिलेगा वैक्सीन
---
प्रधानमंत्री जनऔषधि केंद्रों पर अब बाजार से आधी कीमतों पर एंटी रेबीज वैक्सीन (एआरवी) उपलब्ध होगी। केंद्रों पर पर्याप्त मात्रा में एआरवी की सप्लाई शुरु कर दी गई है।
-----
क्या कहते हैं चिकित्सक
---- सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डा. वीरेंद्र कुमार ने बताया कि कुत्ता काटे हुए मरीजों को तीन से पांच वैक्सीन लेना पड़ता है । मरीज को काटने के बाद कुत्ता की मृत्यु नहीं हुई हो तो ऐसी स्थिति में उन्हें पांच वैक्सीन लेना पड़ता है । पहला वैक्सीन पहले दिन दूसरा वैक्सीन सातवां दिन एवं तीसरा 21 वें दिन लेना पड़ता है । पहला वैक्सीन लेने के बाद दूसरा वैक्सीन तीसरे दिन तीसरा वैक्सीन सातवें में दिन चौथा 21 वें दिन एवं पांचवा वैक्सीन 28 वें दिन लेना पड़ता है ।
---
क्या कहते हैं लोग
-----
ग्रामीण इलाकों में आवारा कुत्तों की संख्या बढ़ी है । इस के आतंक से लोग परेशान रहते हैं । नवहट्टा के मु. इशराफुल ने बताया कि बिना लाठी-डंडे के घर से निकलना मुश्किल है कब कुत्ता किसे काट लें पता नहीं । चंद्रायण के शंकर दास का कहना है कि ऐसे कुत्ते को पकड़ कर निर्देश स्थान में छोड़ देना चाहिए । पशुपालन विभाग , वन विभाग एवं स्थानीय प्रशासन के संयुक्त तत्वाधान में केचर टीम तैयार कर ऐसी पशुओं की धरपकड़ होनी चाहिए । पूर्व उप प्रमुख मोहम्मद ससाबुल ने मांग कि है कि आवारा पशुओं को पकड़ कर पशु चिकित्सक द्वारा बंध्याकरण करवा कर संख्या को कम किया जा सकता है ।

अन्य समाचार