एक शाम गुमनाम बलिदानियों के नाम कार्यक्रम आयोजित

एक शाम गुमनाम बलिदानियों के नाम कार्यक्रम आयोजित

संवाद सहयोगी, छौड़ाही (बेगूसराय) : जिस धरती पर जन्म हुआ है गीत उसी का गाना है। जन्मभूमि है स्वर्ग से बढ़कर मंत्र यही दोहराना है ओजकवि विजयव्रत कंठ ने जब राष्ट्रीय भावना से ओत-प्रोत इन पंक्तियों को लयबद्ध गाया तो श्रोताओं की तालियां देर तक बजती रही। मौका था आजादी के अमृत महोत्सव के सिलसिले में सुंदरी देवी सरस्वती विद्या मंदिर सैनिक स्कूल बटहा के सभागार में आयोजित एक शाम आजादी के गुमनाम बलिदानियों के नाम काव्यांजलि समारोह का। इसका उद्घाटन विद्यालय के अध्यक्ष विनोद कुमार, प्रधानाचार्य देवानंद दूरदर्शी एवं कवियों ने किया।

विद्यालय के जिन बालकवियों ने कविता पाठ से ध्यान आकर्षित किया उनमें निखिल राज, विवेक कुमार, आशुतोष कुमार, ऐश्वर्य आनंद, प्रशांत कुमार, चैतन्य, आयुष प्रमुख रहे। अध्यक्षता करते हुए विनोद कुमार ने ऐसे कार्यक्रम के आयोजन की आवश्यकता जताई, जिससे छात्रों का मनोबल बढ़ता है। स्वरचित काव्य पाठ के बाद धन्यवाद ज्ञापन प्रधानाचार्य देवानंद दूरदर्शी ने किया। मौके पर संजय दास, रामकुमार सिंह, रामबाबू कुमार, रवीन्द्र ठाकुर, राघवेन्द्र कुमार सहित कई अन्य विद्यालयकर्मी मौजूद थे। समापन वंदे मातरम गाकर किया गया।

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