समस्तीपुर में 5977 मरीजों का ही आयुष्मान योजना से इलाज, नौ अस्पतालों का रिकॉर्ड शून्य

समस्तीपुर। स्वास्थ्य विभाग की अनदेखी से आयुष्मान भारत प्रधानमंत्री जनआरोग्य योजना के तहत मरीजों को लाभ नहीं मिल रहा। जिले में गोल्डेन कार्ड से इलाज के लिए 20 सरकारी अस्पतालों का पंजीकरण किया गया है। इनमें 23 दिसंबर 2019 से एक जनवरी 2020 की रिपोर्ट में नौ स्वास्थ्य संस्थानों में मरीजों की चिकित्सा की स्थिति शून्य है। जबकि, जिले में अब तक 5977 मरीजों का ही योजना के तहत इलाज किया गया है। निजी अस्पताल कम पैकेज के कारण दिलचस्पी नहीं ले रहे। योजना के तहत जिले में मात्र तीन को पंजीकृत किया गया। उसमें भी अभी तक इलाज की प्रक्रिया शुरू नहीं की गई है।

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विभागीय स्तर पर भी प्राइवेट अस्पतालों का पंजीकरण करने में दिलचस्पी नहीं दिख रही। सरकारी अस्पतालों में समुचित सुविधा नहीं होने की वजह से अधिकतर मरीज पड़ोसी जिलों में अपना इलाज करा रहे। जिले में आयुष्मान कार्ड बनाने के लिए पांच लाख 22 हजार 688 घरों में 28 लाख 22 हजार 515 लोगों का बनाया जाना है। इसमें अभी तक एक लाख 20 हजार 132 के ही कार्ड बनाए जा सके हैं।
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1040 मरीजों ने पड़ोसी जिलों में कराया इलाज
गोल्डेन कार्ड बनने के बाद से ही मरीजों ने इस योजना के तहत मिलनेवाली सुविधा का लाभ उठाना शुरू कर दिया। जिले में 20 सरकारी अस्पतालों का ही पंजीकरण किया गया है। उसमें सदर अस्पताल और अनुमंडलीय अस्पताल रोसड़ा में कुछ सुविधा है। जिले के 938 मरीजों ने यहां बेहतर सुविधा नहीं रहने के कारण पड़ोसी जिले में जाकर अपना इलाज कराया है। जबकि, अब तक जिले में मात्र 5094 लोगों ने आयुष्मान भारत योजना के तहत अपना इलाज कराया है।
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एक सप्ताह में नौ स्वास्थ्य संस्थानों की स्थिति असंतोषजनक
जिले में पिछले एक सप्ताह के अंदर योजना के तहत मरीजों के इलाज की स्थिति कम रही। सदर अस्पताल में 40, अनुमंडलीय अस्पताल दलसिंहसराय में 22, अनुमंडलीय अस्पताल रोसड़ा में नौ, पटोरी में छह, पूसा में पांच, प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र सिघिया में आठ, प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र खानपुर में चार, प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र विभूतिपुर में दो, प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र कल्याणपुर, प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र शिवाजीनगर, प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र विद्यापतिनगर और प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र वारिसनगर में एक-एक मरीज का इलाज किया गया। इसके अलावा रेफरल अस्पताल ताजपुर, सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र बिथान, प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र हसनपुर, प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र मोहिउद्दीनगर, मोरवा, सरायरंजन, शिवाजीनगर, ताजपुर एवं उजियारपुर में शून्य का इलाज किया गया।
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वर्जन
असंतोषजनक रिपोर्ट वाले संस्थानों के प्रभारियों को सख्त चेतावनी दी गई है। आयुष्मान योजना के तहत गोल्डेन कार्ड बनाने के लिए कैंप लगाया जा रहा।
- डॉ. सियाराम मिश्र, सिविल सर्जन, समस्तीपुर
Posted By: Jagran
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