COVID-19: बुजुर्गों पर संक्रमण का खतरा ज्यादा, ऐसे रखें उनका ख्याला

कोरोना को लेकर हुए अध्ययन में यह बात सामने आई है कि बुजुर्गों के लिए यह ज्यादा जानलेवा साबित हो रहा है। पूरी दुनिया में जितने लोगों की मौत अभी तक कोविड-19 के चलते हुई है, उनमें से ज्यादातर बुजुर्ग हैं।

इसकी स्पष्ट तौर पर दो वजह सामने आई हैं। पहली तो ये कि उम्रदराज लोगों में प्रतिरोधक क्षमता कम हो जाती है, इसलिए वायरस आसानी से उनपर हावी हो जाता है। इसके अलावा आमतौर पर वरिष्ठजन कई तरह की बीमारियों की चपेट में भी होते हैं जैसे शुगर, बीपी और दिल की बीमारी। उसपर वायरस का हमला वह झेल नहीं पाते। ऐसे में यह बेहद जरूरी हो जाता है कि हम अपने बड़े बुजुर्गों का खास ख्याल रखें।
विश्व स्वास्थ्य संगठन के 'रोग नियंत्रण और रोकथाम केंद्र' ने बुजुर्गों की देखभाल करने के संदर्भ में कुछ निर्देश जारी किए हैं।
रूटीन मेडिकल जांच का विकल्प खोजें अगर आपको अपने बड़े-बुजुर्ग को हर महीने मेडिकल चेकअप या दवा दिलाने अस्पताल ले जाना पड़ता है और अगर यह बहुत आवश्यक नहीं हो तो फिलहाल के लिए इसे टाल दें। टेलीफोन से चिकित्सीय सलाह विकल्पों का लाभ ले सकते हैं। योग या वेलनेस क्लास न जाने को कहें।
कमजोर प्रतिरोधी तंत्र के कारण सतर्कता जरूरी विश्व स्वास्थ्य संगठन के मुताबिक, बुजुर्गों की रोग प्रतिरोधक क्षमता कम होती है, जरूरी है कि बचाव के लिए उनका ज्यादा ख्याल रखा जाए। कोलंबिया विश्वविद्यालय के संक्रामक रोग विशेषज्ञ डॉ. डेनियल वाइन्टस्काई कहते हैं कि डायबिटीज व फेफड़ों से जुड़ी बीमारियां होने के कारण साठ से अधिक उम्र के लोगों के शरीर में कोविड -19 जैसे संक्रमण से लड़ने की क्षमता कम हो जाती है।
बुजुर्गों की व्यक्तिगत स्वच्छता जरूरी विशेषज्ञ कहते हैं कि घर में रहने का लाभ तब ही मिलेगा जब घर के साथ की बुजुर्गों की व्यक्तिगत स्वच्छता सुनिश्चित होगी। बुजुर्गों के डाइपर या अंतः वस्त्रों की जांच करते रहें। उनके कमरे व लिविंग एरिया को बार-बार साफ करने की जरूरत है।
बुजुर्गों को बाहर जाने से रोके आमतौर पर बुजुर्ग अपने घर के बच्चों को बाहर खिलाते ले जाते हैं। इन दिनों उन्हें ऐसा न करने की सलाह दें और पूरी तरह घर पर रहने को कहें। भीड़ में न ले जाएं, साथ ही उन्हें सार्वजनिक यातायात से यात्रा न करने दें। उन्हें बार-बार हाथ साफ करने के बारे में याद दिलाते रहें। (क्रमश:)
बुजुर्गों की प्रतिरोधक क्षमता कम होती है। वे घर में ही रहें, कम लोगों से मिले, हाथ साफ करते रहें और गर्म पानी पिएं। -प्रोफेसर करन मदान, पल्मनरी मेडिसिन, एम्स

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