बिहार में टूटी धारणा, 9 संक्रमित में 8 हैं युवा

कोरोना वायरस जब पूरी दुनिया में फैल रहा था भारत के लोग थे जब भारत में कोरोनावायरस का कराया माना जा रहा था की कोरोना वायरस से बुजुर्गों को अधिक खतरा है और उन्हें बचने की उम्मीद कम है युवा को कोई खतरा नहीं है और वे बेपरवाह रहे लेकिन बिहार में मामला कुछ अलग है बिहार में जो मामला कोरोनावायरस से संक्रमण होने का आया है वह यह है कि यहां तकरीबन 34 वर्ष के लोगों को हुआ हुआ है।

जबकि मनाया जा रहा था कि 60 वर्ष से अधिक लोगों को खतरा है खासकर उन्हें जो किसी खास बीमारी से ग्रसित हैं जैसे कि किडनी लीवर शुगर दमा हाइपरटेंशन वगैरा। डब्ल्यूएचओ ने स्थिति की गंभीरता को देखते हुए युवाओं को कोरोनावायरस से बचाव हेतु आगाह किया था और उन्हें घर पर ही रहने की चेतावनी दी गई थी पुलिस सुरक्षा एहतियात करने के लिए यह भी कहा गया था बिहार के केसेस को देखा जाए तो

बिहार में मुंगेर के 34 वर्षीय युवक जिसकी मौत हो गई उसकी पत्नी 36 वर्षीय उसका भतीजा 12 वर्षीय फुलवारी शरीफ का एक युवक 26 वर्षीय नर्सिंग होम कर्मी नालंदा का युवक 30 वर्षीय नर्सिंग होम का खेमनीचक निवासी 20 वर्षीय सिवान का युवक 33 वर्षीय दीघा की महिला 42 वर्ष, पटना सिटी का युवक 29 वर्ष का पाया गया।

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