पांच संदिग्ध आइसोलेशन वार्ड में भर्ती, आठ के लिए गए सैंपल

-सदर अस्पताल के आइसोलेशन वार्ड में है पांच संदिग्ध मरीज भर्ती

-जिले के 47 विद्यालयों में चिह्नित क्वारंटाइन सेंटर में रखे गए हैं 504 श्रमिक
-जिले में बनाए गए कुल चार आपदा राहत केंद्र में 45 लोग हैं आवासित
-आठ मरीजों का सैंपल किया गया है संग्रहित, जांच के लिए भेजा जाएगा पटना
जागरण संवाददाता, सुपौल : कोरोना वायरस के संक्रमण को लेकर जिला प्रशासन सतर्कता बरत रहा है। जिले में कोरोना वायरस के संक्रमण व फैलाव को रोकने के लिए प्रशासन हर कदम उठा रहा है। जिले में राज्य के बाहर से लौटे 504 श्रमिकों को क्वारंटाइन सेंटर के रूप में चिह्नित 47 विद्यालयों में रखा गया है, जहां उन सभी को भोजन और चिकित्सा की सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है। कोरोना संक्रमण के मद्देनजर जिले में निर्धन, निराश्रितों के लिए चार आपदा केंद्र संचालित हैं, जिसमें आवासन के साथ भोजन की व्यवस्था की गई है। उक्त आपदा राहत केंद्रों में 45 व्यक्ति आवासित हैं। सुपौल सदर अस्पताल के आइसोलेशन वार्ड में पांच संदिग्ध मरीज को रखा गया है। इसके अलावा आठ मरीज का सैंपल संग्रह किया गया है, जिसे जांच हेतु आरएमआरआइ पटना भेजा जाएगा। अबतक सुपौल जिले में कोरोना वायरस से संक्रमित एक भी मामला सामने नहीं आया है। आपदा प्रबंधन विभाग बिहार द्वारा लॉकडाउन के दौरान अन्य राज्यों में रह रहे बिहार के मजदूरों एवं जरूरतमंद व्यक्तियों के बैंक खाते में मुख्यमंत्री राहत कोष से एक हजार रुपये प्रति परिवार की दर से राशि हस्तांतरित करने का निर्णय लिया गया है। इस हेतु मोबाइल एप डाउनलोड करने के लिए डब्ल्यूडब्ल्यूडब्ल्यू डॉट आपदा डॉट बीआइएच डॉट एनआइसी डॉट इन पर लिक उपलब्ध कराया गया है, जिसके माध्यम से लाभुक स्वयं को पंजीकृत कर सकेंगे। यह योजना केवल उन्हीं लोगों के लिए है, जो बिहार राज्य के निवासी हैं तथा बिहार राज्य से बाहर कोरोना वायरस के चलते फंसे हुए हैं।
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Posted By: Jagran
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