जिले में 231 लोगों ने गोल्डेन कार्ड से कराया इलाज

केंद्र सरकार की महत्वाकांक्षी आयुष्मान भारत प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना के तहत आमलोगों के लिए इलाज की सुविधा उपलब्ध है। इस योजना के तहत गंभीर व अन्य बीमारी से ग्रसित मरीजों के लिए 5 लाख तक मुफ्त इलाज की व्यवस्था है। सरकार की ओर से पीएचसी से लेकर सदर अस्पताल तक इलाज की सुविधा प्रदान की गई है। योजना के तहत आमलोगों का गोल्डन कार्ड बनाकर लाभ दिया जा रहा है। अब तक 231 लोगों ने इस योजना के तहत जिले में लोगों ने इलाज कराया है। 2011 की जनगणना के बाद बने राशन कार्ड के आधार पर गरीब परिवारों को यह लाभ दिया जा रहा है। राशन कार्ड से जुड़े नवादा जिले के 1 लाख 81 हजार 442 परिवारों का गोल्डन कार्ड बनाना है। गोल्डन कार्ड बनाने के लिए स्वास्थ्य कर्मियों द्वारा घर-घर जाकर ऑनलाइन किया जा रहा है। इसके अलावा पीएचसी व सदर अस्पताल में आयुष्मान भारत केंद्र पर ऑनलाइन गोल्डन कार्ड बनाने का कार्य निरंतर जारी है।

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जिला स्वास्थ्य समिति से मिली जानकारी के अनुसार, 12 मार्च तक पूरे जिले में 1 लाख 51 हजार 442 गोल्डन कार्ड बनाया गया है। कोरोना महामारी को लेकर 22 मार्च से लॉकडाउन किया गया है। लॉकडाउन के बीच गोल्डन कार्ड बनाने का कार्य बाधित है। ऐसे गोल्डन कार्ड बनाने के लिए लोगों का आधार कार्ड होना अनिवार्य है। आधार कार्ड नहीं रहने पर लोगों को गोल्डन कार्ड से वंचित रखा जाएगा।
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पीएचसी, सदर समेत 2 निजी अस्पतालों में इलाज की है व्यवस्था
- आयुष्मान भारत योजना के तहत नवादा जिले में सभी पीएचसी व सदर अस्पतालों में मरीजों की इलाज की व्यवस्था है। इसके अलावा विभाग की ओर से नवादा शहर में दो निजी अस्पतालों में इलाज की व्यवस्था की गई है। निजी अस्पतालों में शहर के प्रधान डाकघर गली स्थित कमला नर्सिंग होम एवं सछ्वावना चौक के पास मेट्रो अस्पताल में सुविधा उपलब्ध है। जहां मरीजों का मुफ्त इलाज किया जा रहा है।
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कहते हैं अधिकारी
- आयुष्मान भारत योजना के तहत नवादा जिला में गोल्डन कार्ड बनाने का कार्य निरंतर जारी है। फिलहाल लॉकडाउन के कारण गोल्डन कार्ड बनाने का कार्य बाधित है। लॉकडाउन खुलते ही गोल्डन कार्ड बनाने का कार्य शुरू हो जाएगा। गोल्डन कार्ड बनाने के लिए लोगों का आधार कार्ड होना अनिवार्य है। स्वास्थ्यकर्मियों को बिना आधार कार्ड के गोल्डन कार्ड नहीं बनाने का सख्त निर्देश दिया गया है। ताकि किसी प्रकार की कोई गड़बड़ी नहीं हो। इस योजना के तहत मरीजों के इलाज के लिए सभी पीएचसी व सदर अस्पताल में इलाज की समुचित व्यवस्था की गई है।
डॉ. विमल प्रसाद सिंह, सिविल सर्जन, नवादा।
Posted By: Jagran
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